तेरे बारे में जब सोचा नहीं था | Tere Baare Mein Jab Socha Nahi Tha

(गीतकार : मेराज फ़ैज़ाबादी)

तेरे बारे में जब सोचा नहीं था
मैं तन्हा था मगर इतना नहीं था…

तेरी तस्वीर से करता था बातें
मेरे कमरे में आईना नहीं था…

समंदर ने मुझे प्यासा ही रखा
मैं जब सहरा में था प्यासा नहीं था…

मनाने रूठने के खेल में हम
बिछड़ जाएँगे ये सोचा नहीं था…

सुना है बंद कर लीं उसने आँखें
कई रातों से वो सोया नहीं था…

मैं तन्हा था मगर इतना नहीं था
तेरे बारे में जब सोचा नहीं था…